कलेक्टर दीपक सक्सेना की अध्यक्षता में जिला स्तरीय निगरानी समिति की मासिक समीक्षा बैठक संपन्न

शहर की वायु गुणवत्ता में सुधार के लिए आयोजित बैठक में निगमायुक्त प्रीति यादव के साथ अपर कलेक्टर

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, सी.ई.ओ. स्मार्ट सिटी, म.प्र. प्रदूषण नियंत्रण, क्षेत्रीय परिवहन, टाउन एंड कंट्री प्लानिंग, कृषि, जे.सी.टी.एस.एल., एम.पी.आर.डी.सी. और जिला खाद आपूर्ति विभाग के अधिकारी भी हुए शामिल

जबलपुर। शहर की वायु गुणवत्ता में सुधार लाने, शहर के नागरिकों को स्वच्छ वायु मिल सके जिससे शहर में स्वच्छ और स्वच्छता का चहुँओर वातावरण बने इसके लिए जिलास्तरीय निगरानी समिति (डी.एल.एम.आई.सी.) के माध्यम से प्रशासनिक स्तर पर लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। इस अभियान को तेज गति से आगे बढ़ाया जाए और स्वच्छ वायु गुणवत्ता में और अधिक सुधार आये इसके लिए कलेक्टर दीपक सक्सेना ने विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक कर आगामी कार्य योजना के सफल क्रियान्वन के लिए निर्देश दिए।
बैठक कलेक्टर दीपक सक्सेना की अध्यक्षता में कलेक्टर कार्यालय में संपन्न हुई। बैठक में निरंतर वायु गुणवत्ता में सुधार हेतु विभिन्न विभागों के द्वारा किए गए कार्यों की समीक्षा करने के साथ-साथ आगामी 100 दिन में किए जाने वाले कार्यों को समाहित कर विस्तृत शीतकालीन कार्य योजना का प्रजेंटेशन भी हुआ एवं उपस्थित अन्य विभागों से इस कार्य योजना में शामिल होकर सहभागिता प्रदान करने के भी निर्देश दिए गए।
कलेक्टर श्री सक्सेना ने ठोस अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2016 के अनुसार ओपन बॉयोमास (कोयला, लकड़ी, ब्रिकेट्स, होटल, रेस्टोरेंट, ठेले इत्यादि), कचरा एवं अलाव जलाने पर लगाये गये प्रतिबंध का कड़ाई से पालन करते हुये, नगर निगम के समस्त सफाई मित्रों को कचरा एकत्रीकरण के पश्चात् उसे न जलाने हेतु प्रशिक्षित किया जाये, शहर के प्रमुख भीड़ भाड़ एवं प्रमुख चौराहों पर होर्डिंग लगाकर साथ ही शहर में संचालित डिस्प्ले बोर्ड पर जागरूकता के संदेश, चलचित्र के माध्यम से नागरिकों से कचरा न जलाने, सड़क पर मलबा न फेलाने हेतु जागरूक करने, शहर में जहां ज्यादा धूल उड़ने की संभावना है, उन्हें हॉटस्पॉट के रूप में चिन्हित कर वहां मैकेनिकल स्वीपिंग मशीन व नियमित जल छिड़काव के माध्यम से नियंत्रण किया जाये, जिन क्षेत्रों में निर्माण कार्य चल रहे हैं वहां धूल न उड़े इसके लिए ग्रीन नेट लगाने एवं शहर की प्रमुख सड़को की जेटिंग मशीन, वाटर स्प्रिकलर, रोड़ स्वीपिंग मशीन, डी फोगर के द्वारा रोड़ की सफाई, धुलाई एवं डिवाइडर की सफाई करने, जिला परिवहन विभाग को सभी शहरों में वेब बेस्ड पी.यू.सी. सेन्टर्स स्थापित किये जायें, शहर में वह स्थान चिन्हित किये जायें जहां अत्यधिक संख्या में वाहन गतिविधियां संचालित होती हैं, वहां पीक ऑवर्स के समय ट्रैफिक डायवर्सन करते हुये, नियंत्रित किया जाये तथा ऐसे स्थानों पर पी.यू.सी. प्रमाण-पत्र की जांच हेतु विशेष अभियान चलाते हुये, उल्लंघन की स्थिति में चालानी कार्यवाही की जाये। इसके अतिरिक्त जिला प्रशासन, नगर निगम, यातायात पुलिस द्वारा संयुक्त अभियान चलाते हुये सड़कों पर चलने वाले अनफिट वाहनों के विरुद्ध अभियान चलाया जाये, पी यू सी सेंटर को केन्द्रीयकृत सर्वर से जोड़ने एवं सभी वाहनों की पीयूसी सर्टिफिकेट अनिवार्य रूप से जांच करने, कृषि विभाग को शहरों के आस-पास के खेतों, ग्रामीण क्षेत्रों में पराली जलाने की गतिविधियों पर सतत् निगरानी रखते हुये, पराली जलाने की स्थिति में नियमानुसार चालानी कार्यवाही की जावे साथ ही किसानों को हैप्पी सीडर का अधिक से अधिक उपयोग करने हेतु जागरूकता अभियान चलाने के निर्देश दिए गए।
वायु गुणवत्ता में सुधार हेतु गठित डी.एल.एम.आई.सी. की बैठक में निगमायुक्त श्रीमती प्रीति यादव, अपर कलेक्टर श्रीमति मीशा सिंह, मुख्य कार्यपालन अधिकारी स्मार्ट सिटी अनुराग सिंह, मध्य प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से आलोक कुमार जैन एवं अयिद परवेज, उपायुक्त एवं नेशनल एयर क्लीन प्रोग्राम के नोडल संभव अयाची, क्षेत्रीय परिवहन विभाग से जितेंद्र रघुवंशी, जबलपुर सिटी ट्रांसपोर्ट सर्विस लिमिटेड सचिन विश्वकर्मा, नेशनल एयर क्लीन प्रोग्राम के सहायक नोडल अभिनव मिश्रा, डॉ. मनीष गुप्ता, शितेश पाण्डेय एवं निखिल शिवहरे एवं एम.पी.आर.डी.सी. टाउन एंड कंट्री प्लानिंग विभाग, कृषि विभाग, जिला खाद आपूर्ति विभाग के अधिकारीगण भी शामिल हुए तथा बैठक में चर्चा कर कार्य योजना के सफल क्रियान्वन करने हेतु सभी अधिकारियों को निर्देश दिए गए।

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