शिव स्वयंभू हैं, शाश्वत हैं सर्वोच्च सत्ता है ब्र. चैतन्यानंद

बगलामुखी सिद्ध पीठ शंकराचार्य मठ में ब्रह्मचारी सुबोधनंद चातुर्मास पर पर आयोजित शिव महापुराण एवं पार्थिव शिवलिंग निर्माण उनका दुग्धाभिषेक तथा आरती हुई

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शिव स्वयंभू हैं, शाश्वत हैं सर्वोच्च सत्ता है ब्र. चैतन्यानंद
बगलामुखी सिद्ध पीठ शंकराचार्य मठ में ब्रह्मचारी सुबोधनंद चातुर्मास पर पर आयोजित शिव महापुराण एवं पार्थिव शिवलिंग निर्माण उनका दुग्धाभिषेक तथा आरती हुई कथा में पूज्य ब्रह्मचारी चैतन्यानंद जी महाराज ने बताया कि सावन में शिव पुराण का पाठ करने से उसका फल बहुत ही सुखदायी होता है।शिव – जो स्वयंभू हैं, शाश्वत हैं सर्वोच्च सत्ता है विश्व चेतना हैं और ब्रह्माण्डीय अस्तित्व के आधार हैं सभी पुराणों में शिव पुराण को सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण होने का दर्जा प्राप्त है इसमें भगवान शिव के विविध रूपों, अवतारों, ज्योतिर्लिंगों, भक्तों और भक्ति का विशद् वर्णन किया गया है शिव पुराण में शिव – जो स्वयंभू हैं, शाश्वत हैं, सर्वोच्च सत्ता है, विश्व चेतना हैं और ब्रह्माण्डीय अस्तित्व के आधार हैं। सभी पुराणों में शिव पुराण को सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण होने का दर्जा प्राप्त है इसमें भगवान शिव के विविध रूपों, अवतारों, ज्योतिर्लिंगों, भक्तों और भक्ति का विशद् वर्णन किया गया है यह पुराण कलियुग में मनुष्यों के हित का परम साधन है शिव पुराण के पूर्व हिंडोला महापूजा एवं मुद्रा सिक्के से अर्चन किया तत्पश्चात महाआरती हुई आज शिवमहापुराण में बीके पटेल मनीष पांडे श्रीमती आराध्या चौकसे प्रीति अग्रवाल नेहा साहू प्रीति साहू आदि भक्तगण उपस्थित रहे

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